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प्रयागराज, यूपी : संगम किनारे महाकुंभ में आस्था और विश्वास का महासंगम दिखाई दे रहा है। यहां भव्य शिविरों में साधु-संन्यासियों का जमावड़ा है। विश्व कल्याण के लिए दिन भर अनुष्ठान चल रहे हैं। देश ही नहीं विदेशों से भी कई श्रद्धालु आस्था के इस महासंगम के साक्षी बनने पहुंच रहे हैं। इसमें अन्य धर्मों के लोग भी नजर आ रहे हैं। यहां विभिन्न अखाड़ों और धर्मगुरुओं के पंडाल श्रद्धालुओं के लिए आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं। इस दौरान श्रद्धालुओं ने कहा कि यहां आकर हमारे अंदर नई ऊर्जा का संचार हो रहा है। एक युवा श्रद्धालु ने तो सनातन धर्म और ईश्वर को लेकर बड़ी बात कह दी। जानिए किसने क्या कहा

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00:00अपने आगल बगल इतने लोग देखते हैं, आपके लिए एक नए एनर्जी फिल्म। यह बहुत अच्छा महुल है।
00:07इसके बीचे का सबसे बड़ा कारण यह है कि सनातन धर्म सब को एक्सेप्ट करता है बिना उने बदले, वो जैसे होते हैं वैसे उनको एक्सेप्ट करता है।
00:14सनातन धर्म का बस एक में सबसे बड़ा यह है कि वो कर्म पर विश्वास करता है और यहां तक कि वो ईश्वर भी उस कर्म चक्र से उपर नहीं है। ब्रह्माः जी भी अगर गलती करते हैं तो उनके भी खीश काट के उनको सजा दी जाती है। यह सबसे बड़ा एक मेसेज
00:44इसके लिए सबको एक्सेप्टेंस है किसी भी उनके उपर इंपोजिव कंडिशन लगाए बिना यह सनातन धर्म को बाकी धर्मों से अलग बनाता है।
00:52सबसे बड़ी चीज़ यह है कि बाकी सभी धर्मों में ईश्वर सिर्फ पिता तुल्ले देखे गए। सनातन धर्म में ईश्वर सिर्फ पिता नहीं, माता, दोस्त, कॉंपेटीटर, गुरू, शिष, पुत्र, पुत्री, हर रूप में देते हैं और देखे जाती है ईश्व
01:23पुत्री, ज़ीचिया, कॉंपेटीटर, इश्वर, दोस्त, गुरू, सर्फ हर्म, जिन्ज़ों, पुत्र, धर्म में आपर के देखेगा तुल्ले, बाकी हाथ देखन
01:34बनडाल को पुछ जो जो पणडाल हैं वास्तम में एक अपने आप में एक बहुत बडा ही हेंड्र हैं
01:41जिसकों देखे ही लोग चाहिए वास्तम में इतने पंडाल्स मैंने देखे
01:48। यहाँ पंडाल को चाहिए बहुत भावने था
01:57भवारती साल उपने प्रकेमारां है
02:04वो प्रकेमें अध्यारत भी है
02:13युवा प्रकेमारां को धर्माता प्रकेमारां डिनेगर है
02:20और प्लस जो जितने भी जो सनातनी हैं जो वो भी आगे आ रहे हैं जो उनको देख के जो यूधा भी थोड़ा सोचता है जो उनको पढ़ाया गया जो पैले पढ़ाया गया जो वो सब चीज़े जो लगता है जो है की शुरू में जो है मतलब उस साथ से फोकस नहीं किया गया
02:51वो पहले जीतनी अन्तान्पे वो पहले था उन्होंगे पहले खुले किसी को देखने मतलब थो
02:57बगबान सहाय, काफी जेगये यहाँ यहाँ पे पहुंद अच्छा पंडाल है कोमाराई ही यहैं
03:05आज के बाद तो जुनिया में बहुत सरूरत है इन्सान को अध्यात्म की
03:13और इसे लिए हम लोगे इसके प्रतिवती हम सभी युवा हैं
03:18लेकिन इस संक्तिती के इतना बड़ा मेला है
03:21इसके प्रति हमारा रुजहान इसे लिए हम लोगे
03:24महापूम में आए हूँ ऐसा लगता है कि पूरे भारत की जो ख़वी है
03:29वो एक साथ यहीं हमारे संगमनंदी में आगई है
03:32हमें कहीं जाने के ज़रूरत नहीं है अगर नहीं जा सकता है कोई भी
03:35इसी संगम में आगे पूरे विश्व की धरोर देख सकता है
03:40हर तृति स्थारी आए पूरे
03:42बहुत अच्छा लग रहा है, बहुत सुन्दर लग रहा है
03:44और भगवान, हमारी गंगा मैंयां सबकी कृपा कर रहा है
03:47लोग जागरूरत हो रहे हैं सालातन धर्मों को लेकि
03:50क्योंकि यही एक अपना धर्म है
03:52जहां से हर किसी का रास्ता निकाल रहे है
03:54यह अपना मात्र भाषा भी है
03:56और उसके साथ साथ चारों धर्म जिधर ही देखें
03:59यहां धर्म प्रचार हो रहे है
04:01अब प्रचार होने से क्या होता है
04:03कि लोगों के अंदर जो चीजे दबी हुए वो निकलती है
04:06बहुत सुन्दर, बहुत सुखत लग रहा है
04:09आत्मा की शुद्धी जैसे होती है
04:11कितने भी यहां लोग आए हर भारत से
04:13अलग-अलग स्टेट से आए, अलग-अलग स्टेट से आए
04:15उनको आके लग रहा होगा कि हाँ हम कहीं आए
04:18उनके आत्मा की तुरिष्टी पूरी-पूरी हो जा रही है
04:21आके लग रहा है हम वहाँ पे जा चुके हैं, दर्शन कर लिया है
04:24वो कमी यहां पूरी कर रहा है
04:26और पूरा संगम इतना भक्ति माई है
04:30कि आके पूरा भक्ति से एकड़म सरा बोर हो जा रहा है हम लोग
04:48उम्हें बच्चमन में जो घर परिवार में पूझा पाठ बहुत होती है
04:51तो हम लोग इस चीज को बहुत उससे लेते हैं
04:54और यहां जो इतना विशाल संगम में यह सब हुआ है
04:59इसकी कलपना हम लोग कभी नहीं कर सकते थे
05:02लेकिन खुशी इतनी है कि सबदों में बेहान नहीं कर सकती है
05:05ऐसा कुछ जैसे होता नहीं कल्यूग में कहते हैं कि लोग चेंज हो जाएंगे
05:10लोग मुझे लग रहा है कि सत्यूग जैसा हो रहा है
05:12लोग इतना यूथ अट्रेक्ट हो रहा है
05:14पहले तो मैं मानूंगा इसमें ब्रेमा निंजी बहुत कर रहा है
05:20उनके बचन यूथ बहुत मान रही है
05:23उससे साथ लोग यहां पर आना करते नहीं
05:26तो पहले लोग पार्टीज बहुत जाएंगे करना साते थे
05:29पर जब से ब्रेमा निंजी और बहुत से लोग है
05:32हम ज़्यादा सोचल मीडिया पर रहते हैं
05:36तो उससे इंफ्लिएंस हो रहे हैं
05:38ताकि यहां पर हम लोग वो इंफ्लिएंस करते हैं
05:40तबी तो हम लोग इधर भूम रहे हैं
05:42एथा हम लोग कहीं पार्टीज बहुत रहते थे
05:44यहां का साफ सफाई बहुत प्यारा लग रहा है
05:48वर्प्रेस यहां भक्ती का महाल पूरा सब लोग इधर
05:52और बहुत से दूर दूर से लोग आया हूँ
05:54मुझे प्राउड फिल हो रहा है
05:56कि मैं एलावाद का रहने बादा हूँ
05:58हमको फालो करना चाहिए
06:00हमको अपना धर्म फालो करना चाहिए
06:02ताकि हमलोग आगे जो भी होता है
06:04लाइफ में सबकी लिए कुछ अलग-अलग बनाये गए
06:08तो हमलोग फालो करना चाहिए

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